खरीफ की बुवाई 1.48 लाख हेक्टेयर बढ़ी, कपास में मामूली गिरावट
2025-06-17 17:12:47
खरीफ फसल की बुआई ने पकड़ी रफ्तार, पिछले वर्ष की तुलना में 1.48 लाख हेक्टेयर अधिक क्षेत्र में बुआई ,कपास की बुआई में मामूली गिरावट
खरीफ सीजन 2025 की बुआई ने उत्साहजनक शुरुआत की है। कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय की फसल प्रभाग द्वारा जारी नवीनतम रिपोर्ट के अनुसार, 13 जून 2025 तक कुल 89.29 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में बुआई दर्ज की गई है, जो कि पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में 1.48 लाख हेक्टेयर अधिक है।
खरीफ 2025 के दौरान कपास की बुआई में इस वर्ष थोड़ी सी गिरावट दर्ज की गई है। कृषि मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार, अब तक 13.19 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में कपास की बुआई हुई है, जो कि पिछले वर्ष की समान अवधि में 13.28 लाख हेक्टेयर थी। यह 0.09 लाख हेक्टेयर की कमी को दर्शाता है।
धान, दलहन और तिलहन में सबसे अधिक वृद्धि
तिलहन फसलों में भी उल्लेखनीय बढ़ोतरी देखी गई है — कुल बुआई क्षेत्र 1.50 लाख हेक्टेयर से बढ़कर 2.05 लाख हेक्टेयर तक पहुँच गया है। इसमें सोयाबीन की बुआई में 66,000 हेक्टेयर की वृद्धि मुख्य कारण रही।
मोटे अनाज, कपास और जूट में मिला-जुला प्रदर्शन
गन्ने की बुआई में स्थिर प्रगति
विशेषज्ञों की राय
कृषि मंत्रालय के अधिकारियों के अनुसार, अनुकूल मानसून पूर्वानुमान और मिट्टी में नमी की बेहतर स्थिति के चलते बुआई में तेजी आई है। हालांकि, खरीफ सीजन की रफ्तार बनाए रखने के लिए जुलाई माह में मानसून की निरंतरता अहम होगी, विशेष रूप से वर्षा-आधारित क्षेत्रों में।
विशेषज्ञों का मानना है कि मानसून की अनिश्चितता और कुछ क्षेत्रों में नमी की कमी इसके पीछे संभावित कारण हो सकते हैं। हालांकि, यदि जुलाई में अच्छी वर्षा होती है, तो कपास की बुआई में तेजी आ सकती है।
कपास उगाने वाले प्रमुख राज्यों में महाराष्ट्र, गुजरात, तेलंगाना और हरियाणा के किसानों की नजर अब आगामी मौसम की चाल पर टिकी है।